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8th Pay Commission Salary: कितनी बढ़ेगी केंद्र सरकार के कर्मचारियों की सैलरी? फिटमेंट फैक्टर, पे मैट्रिक्स और भत्ते जानिए

8th Pay Commission Salary
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केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 8वें केंद्रीय वेतन आयोग (8th Pay Commission) की Terms of Reference (ToR) को मंजूरी दे दी है — यानी अब आयोग को आधिकारिक रूप से सिरित कर के सैलरी, पेंशन और भत्तों की समग्र समीक्षा करने का काम दिया गया है। मंत्रिमंडल की ब्रीफिंग में सूचना एवं प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने भी इस निर्णय का ब्यौरा दिया और कहा कि आयोग रिपोर्ट सौंपने के बाद उसकी सिफारिशें लागू की जाएंगी। इस पहल से लाखों केंद्र सरकार कर्मचारियों और पेंशनभोगियों की आय-संरचना में संभावित बदलावों पर चर्चा तेज हो गई है।

8वें वेतन आयोग की स्थापना और क्या होगा

हर दशक के या आवश्यकतानुसार केंद्र सरकार वेतन-ढांचे की व्यापक समीक्षा के लिए केंद्रीय वेतन आयोग बनाती है। 8वां आयोग भी उसी परंपरा का हिस्सा है — इसका काम रहेगा मौजूदा मूल वेतन, पे-मैट्रिक्स, भत्ते (DA, HRA आदि) और पेंशन व्यवस्था की समीक्षा करके सुझाव देना। ToR मिलने के बाद आयोग संबंधित मंत्रालयों, स्टाफ ज्वाइंट कंसल्टेटिव मशीनरी और राज्यों से इनपुट लेकर विस्तृत रिपोर्ट तैयार करेगा।

कब तक रिपोर्ट और लागू होने की संभावना?

सरकारी बयानों और मीडिया रिपोर्टों के अनुसार आयोग को अपनी रिपोर्ट जमा करने के लिए लगभग 12-18 महीने दिए जाने की बात कही जा रही है; कुछ चैनलों और प्रेस नोट्स में यह भी कहा गया है कि नई सिफारिशें संभावित तौर पर 1 जनवरी 2026 से प्रभावी की जा सकती हैं — हालाँकि अंतिम लागू-तिथि आयोग की सिफारिशों और सरकार के निर्णय पर निर्भर करेगी। यानी समय-सीमा पर अभी अंतिम पुष्टि के लिए आधिकारिक नोटिफिकेशन देखना जरूरी होगा।

8वें वेतन आयोग का पैनल — किन्हें रखा गया है?

सरकार ने आयोग का नेतृत्व सुप्रीम कोर्ट की पूर्व न्यायाधीश जस्टिस रंजना प्रकाश देसाई को देने का निर्णय लिया है। पैनल में एक अंशकालिक सदस्य के रूप में IIM-B के प्रोफेसर पुलक घोष और सदस्य-सचिव के रूप में पेट्रोलियम विभाग के सेक्रेटरी पंकज जैन नियुक्त हुए हैं। यह संयोजन कानूनी, शैक्षणिक और प्रशासनिक अनुभव का मिश्रण माना जा रहा है।

फिटमेंट फैक्टर — यह क्या है और कैसे काम करेगा?

फिटमेंट फैक्टर किसी भी वेतन आयोग के सबसे अहम वैरिएबल्स में से एक होता है। सरल शब्दों में यह एक गुणक है जिससे वर्तमान मूल वेतन (basic pay) को गुणा कर नया संशोधित मूल वेतन निकाला जाता है:

संशोधित मूल वेतन = वर्तमान मूल वेतन × फिटमेंट फैक्टर

पिछले आयोगों में यह फैक्टर अलग-अलग रहा — उदाहरण के लिए 7वें आयोग में 2.57 का फिटमेंट फैक्टर रहा। 8वें आयोग के बारे में अलग-अलग विश्लेषण और मीडिया रिपोर्ट्स में अनुमान दिए जा रहे हैं: कई स्रोतों में फिटमेंट फैक्टर का अनुमान ~1.8x से लेकर 2.8x तक दिया जा रहा है (सटीक रेंज विभिन्न संस्थानों के अनुमान पर निर्भर करती है)। फिटमेंट फैक्टर तय होने पर इसका प्रभाव मूल वेतन, उससे जुड़े अलाउंसेस और पे-मैट्रिक्स पर संपूर्ण असर दिखाएगा।

पे-मैट्रिक्स और भत्तों पर असर

नया फिटमेंट और संशोधित मूल वेतन सीधे तौर पर भत्तों की गणना के आधार को बदलता है। उदाहरण के लिए HRA, DA और अन्य अलाउंसेस का प्रतिशत आम तौर पर बेसिक पे पर निर्भर करता है — इसलिए बेसिक पे में वृद्धि से भत्तों में भी वृद्धि होगी। साथ ही कुछ परफॉर्मेंस-आधारित या पद-विशिष्ट संशोधनों को लेकर आयोग अलग प्रस्ताव रख सकता है — जैसे अलग ग्रेडों के लिए नए स्लैब, प्रमोशन-बेस्ड पेटर्न आदि। इन बिंदुओं पर आयोग की तकनीकी गणनाओं और फिस्कल व्यवहार्यता (सरकारी बजट पर प्रभाव) को भी देखा जाएगा।

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कर्मचारियों की सैलरी कितनी बढ़ सकती है — व्यावहारिक अनुमान

अभी तक आयोग की आधिकारिक सिफारिश सार्वजनिक नहीं है, इसलिए वृद्धि के ठोस अंक कहना जल्दबाजी होगी। फिर भी मीडिया-विश्लेषणों और प्रारंभिक अनुमानों के आधार पर कुछ संकेत मिलते हैं: कुछ रिपोर्टों में कहा गया है कि औसतन केंद्र सरकार के कर्मचारियों को मौजूदा बेसिस पर प्रति माह कई हज़ार से लेकर—ऊपर के केसेस में—करीब ₹19,000 तक का बढ़ा हुआ लाभ मिल सकता है, विशेषकर मध्य और वरिष्‍ठ ग्रेड में, यदि फिटमेंट फैक्टर उच्च सीमा के करीब गया तो। पर यह प्रति-किसी श्रेणी अलग होगा तथा अंतिम प्रभाव पद, वर्तमान वेतन और भत्तों की संरचना पर निर्भर करेगा।

कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए क्या मायने रखता है?

  • न्यूनतम बेसिक पे: यदि फिटमेंट अधिक हुआ तो न्यूनतम मूल वेतन बढ़ेगा, जिससे निचले ग्रेड के कर्मचारियों को बड़ा लाभ मिलेगा।
  • पेंशन पर असर: पेंशन की गणना भी बेसिक पे के अनुरूप होती है, इसलिए पेंशनभोगियों को भी लाभ मिलेगा — पर वहाँ संरचना और संशोधन के नियम अलग होंगे।
  • भत्ते और DA: महंगाई के मद्देनज़र DA-राशि और HRA में संशोधन का सीधा असर दिखाई देगा।
  • बजट व देश की स्थिति: सरकार को फिस्कल लॉजिस्टिक्स और बजट-प्रभाव भी ध्यान में रखना होगा — इसलिए आयोग के सुझावों में आर्थिक व्यवहार्यता भी अहम भूमिका निभाएगी।

अंत में — क्या कर्मचारी तुरंत खुशी मानें?

यह एक सकारात्मक संकेत है कि ToR और पैनल फाइनल हो गया है — पर सिफारिशें तभी फाइनल होंगी जब आयोग अपनी रिपोर्ट दे देगा और सरकार उन्हें मंजूरी देकर लागू करेगी। इसलिए कर्मचारियों को उम्मीदें रखना चाहिए लेकिन अंतिम निर्णय और लागू होने की तारीख की आधिकारिक पुष्टि पर ही भरोसा रखना सुरक्षित रहेगा।

8th Pay Commission Salary Hike – FAQs

8वां वेतन आयोग क्या है?

8वां वेतन आयोग केंद्र सरकार द्वारा गठित एक पैनल है, जिसका उद्देश्य सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों की वेतन संरचना, भत्तों और पेंशन प्रणाली की समीक्षा करना है। यह हर 10 साल में बनाया जाता है ताकि कर्मचारियों की आय महंगाई और आर्थिक परिस्थितियों के अनुरूप हो सके।

8वें वेतन आयोग की अध्यक्ष कौन हैं?

8वें वेतन आयोग की अध्यक्ष सुप्रीम कोर्ट की पूर्व न्यायाधीश रंजना प्रकाश देसाई हैं। इसके अलावा प्रो. पुलक घोष अंशकालिक सदस्य और पंकज जैन सदस्य-सचिव हैं।

फिटमेंट फैक्टर क्या होता है?

फिटमेंट फैक्टर एक गुणक (Multiplier) होता है जिससे पुराने बेसिक पे को गुणा करके नया वेतन तय किया जाता है।
फॉर्मूला:
नया मूल वेतन = वर्तमान मूल वेतन × फिटमेंट फैक्टर
7वें वेतन आयोग में यह 2.57 था, जबकि 8वें में इसके 1.83 से 2.86 के बीच रहने की उम्मीद है।

8वें वेतन आयोग से सैलरी कितनी बढ़ सकती है?

अभी तक आधिकारिक आंकड़े घोषित नहीं हुए हैं, लेकिन अनुमान है कि कर्मचारियों की मासिक सैलरी में औसतन ₹10,000 से ₹19,000 तक की वृद्धि हो सकती है, जो उनके ग्रेड और वर्तमान वेतन पर निर्भर करेगी।

क्या 8वें वेतन आयोग के बाद भत्तों (Allowances) में भी बढ़ोतरी होगी?

हाँ, क्योंकि HRA, DA और अन्य भत्तों की गणना बेसिक पे पर होती है। बेसिक पे बढ़ने से भत्तों की राशि भी स्वतः बढ़ जाएगी।

क्या राज्य सरकारों के कर्मचारी भी इससे लाभान्वित होंगे?

सीधे तौर पर नहीं, क्योंकि यह केवल केंद्र सरकार के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए है। लेकिन कई राज्य सरकारें केंद्र की सिफारिशों के आधार पर अपने कर्मचारियों के लिए समान संशोधन लागू करती हैं।



Aadit Singh


सह-संस्थापक और चीफ़ एडिटर, Yuva Help (yuva.help)। युवाओं को सरकारी नौकरियों, स्कॉलरशिप और करियर गाइडेंस की सही जानकारी देने के लिए लगातार काम कर रहे हैं।

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