UP Board Class 11th Chemistry Syllabus 2025-26: यूपी बोर्ड कक्षा 11 रसायन विज्ञान 2025-26 के पाठ्यक्रम में अकार्बनिक, कार्बनिक और भौतिक रसायन विज्ञान सभी महत्वपूर्ण विषय शामिल हैं। रसायन विज्ञान के पाठ्यक्रम में प्रयोगशाला अभ्यास, समीकरण और संरचनाओं को विस्तार से बताया गया है। इस पाठ्यक्रम से छात्र व छात्रा को एक मजबूत आधार मिलता है और साथ ही साथ व्यावहारिक कौशल भी मिलता है।
UP Board Class 11th Chemistry Syllabus 2025-26: कक्षा 11 के लिए यूपी बोर्ड का रसायन विज्ञान पाठ्यक्रम 2025-26 इस तरह से बनाया गया है कि विद्यार्थी न केवल विषय को समझें बल्कि प्रयोगात्मक कौशल भी विकसित करें। इसमें अकार्बनिक, कार्बनिक और भौतिक रसायन विज्ञान के सभी महत्वपूर्ण टॉपिक शामिल हैं। यह पाठ्यक्रम विद्यार्थियों को विज्ञान की मजबूत नींव देता है और उन्हें भविष्य की प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए भी तैयार करता है।
UP Board Class 11 Chemistry Evaluation Pattern 2025-26
यूपी बोर्ड ने कक्षा 11 रसायन विज्ञान के लिए ऐसी अंकन योजना तैयार की है जिसमें हर अध्याय और प्रयोग के अंक स्पष्ट रूप से निर्धारित हैं। यह विद्यार्थियों को न केवल परीक्षा की पूरी तैयारी करने में मदद करती है बल्कि उन्हें समय का बेहतर उपयोग कर उत्कृष्ट अंक प्राप्त करने के लिए प्रेरित भी करती है।
क्रम संख्या | अध्याय / विषय | अंक वितरण (Marks) |
---|---|---|
1 | बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQ): 1×6 | 06 |
2 | संक्षिप्त उत्तर प्रश्न (2 अंक × 4) | 08 |
3 | संक्षिप्त उत्तर प्रश्न (2 अंक × 4) | 08 |
4 | विस्तृत उत्तर प्रश्न (3 अंक × 4) | 12 |
5 | विस्तृत उत्तर प्रश्न (4 अंक × 4) | 16 |
6 | प्रयोग / प्रायोगिक प्रश्न (5 अंक × 2) | 10 |
7 | प्रयोग / प्रायोगिक प्रश्न (5 अंक × 2) | 10 |
8 | व्यवस्थित लेखन और दीर्घ उत्तर (प्रयोगशाला) | 10 |
9 | अन्य प्रश्न / विशेष अभ्यास | 10 |
कुल अंक | 70 |
UP Board 11th Chemistry का पाठ्यक्रम 2025-26
कक्षा 11 रसायन विज्ञान हेतु यूपी बोर्ड का पाठ्यक्रम 2025-26 इस प्रकार निर्मित किया गया है कि विद्यार्थी रसायन विज्ञान की मूलभूत धारणाओं से लेकर जटिल विषयवस्तु तक क्रमबद्ध रूप से अध्ययन कर सकें। इसमें अकार्बनिक, कार्बनिक एवं भौतिक रसायन विज्ञान की महत्वपूर्ण इकाइयाँ, प्रयोगशाला अभ्यास, रासायनिक समीकरण तथा संरचनाएँ विस्तृत रूप से सम्मिलित हैं। यह पाठ्यक्रम सैद्धांतिक ज्ञान के साथ व्यावहारिक दक्षता को भी सुदृढ़ करने पर बल देता है।
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निट 1: रसायन विज्ञान की कुछ मूल अवधारणाएं (07 अंक)
- रसायन विषय का महत्व और विस्तार, द्रव्य की कणिक प्रकृति तक ऐतिहासिक पहुंच।
- रासायनिक संयोजन के नियम, डाल्टन का परमाणु सिद्धांत, तत्व, परमाणु और अणु की अवधारणा।
- परमाण्विक, आण्विक द्रव्यमान, मोल की अवधारणा और मोलर द्रव्यमान-प्रतिशत संघटन, मूलानुपाती एवं आण्विक-सूत्र।
- रासायनिक अभिक्रियाएं, स्टॉइकियोमेट्री और उस पर आधारित गणनाएं।
यूनिट 2: परमाणु की संरचना (08 अंक)
- इलेक्ट्रॉन, प्रोटॉन और न्यूट्रॉन की खोज, परमाणु क्रमांक, समस्थानिक और समभारिक।
- थॉमसन का मॉडल और इसकी सीमाएं, रदरफोर्ड का मॉडल और इसकी सीमाएं, बोहर मॉडल और इसकी सीमाएं।
- कोशों एवं उपकोशों की अवधारणा, द्रव्य एवं प्रकाश की द्वैत प्रकृति, डी ब्रॉग्ली संबंध।
- हाइजेनबर्ग का अनिश्चितता सिद्धांत, कक्षकों की अवधारणा, क्वांटम संख्याएं, s, p और d कक्षकों की आकृतियां।
- कक्षकों में इलेक्ट्रॉनों भरने के नियम-ऑफबाउ नियम, पाउली अपवर्जन नियम तथा हुंड का नियम।
- परमाणुओं का इलेक्ट्रॉनिक विन्यास, अर्धभरित और पूर्ण भरित कक्षकों का स्थायित्व।
यूनिट 3: तत्वों का वर्गीकरण और गुणधर्मों में आवर्तिता (07 अंक)
- वर्गीकरण की सार्थकता, आवर्त सारणी के विकास का संक्षिप्त इतिहास।
- आधुनिक आवर्त नियम तथा आवर्त सारणी का वर्तमान स्वरूप।
- तत्वों के गुणधर्मों की आवर्ती प्रवृत्ति-परमाणु त्रिज्याएं, आयनी त्रिज्याएं, क्रियाशील गैस त्रिज्याएं।
- आयनन एंथैल्पी, इलेक्ट्रॉन लाभ एंथैल्पी, विद्युत ऋणात्मकता, संयोजकता।
- 100 से अधिक परमाणु क्रमांक वाले तत्वों का नामकरण।
यूनिट 4: रासायनिक आबंधन तथा आण्विक संरचना (07 अंक)
- संयोजकता-इलेक्ट्रॉन, आयनिक आबंध, सहसंयोजक आबंध, आबंध प्राचल लुईस संरचना।
- सहसंयोजक आबंध का ध्रुवीय गुण, आयनिक आबंध का सहसंयोजक गुण, संयोजकता आबंध सिद्धांत।
- अनुनाद, सहसंयोजक अणुओं की ज्यामिति, VSEPR सिद्धांत, s, p तथा d कक्षकों और कुछ सामान्य अणुओं की आकृतियों को सम्मिलित करते हुए संकरण की अवधारणा।
- लीनियर द्विपरमाणुक अणुओं के आबंधन का आण्विक कक्षक सिद्धांत (केवल गुणात्मक परिचय)।
- हाइड्रोजन आबंध।
यूनिट 5: ऊष्मागतिकी (06 अंक)
- निकाय की अवधारणा, निकाय के प्रकार, परिवेश, कार्य, ऊष्मा, ऊर्जा, विस्तीर्ण तथा गहन गुण, अवस्था फलन।
- ऊष्मागतिकी का प्रथम नियम-आंतरिक ऊर्जा और एंथैल्पी (H), ऊष्माधारिता, विशिष्ट ऊष्माएं, ∆U तथा ∆H का मापन।
- हेस का स्थिर ऊष्मा संकलन नियम, एंथैल्पी-आबंध विखंडन, संभवन (विरचन), दहन, कणकरण, ऊर्ध्वपातन, प्रावस्था रूपांतरन, आयनन तथा विलयन, मानक ऊष्मा।
- एंट्रॉपी का अवस्था फलन की भांति परिचय, स्वतः प्रवर्तित और स्वतः अप्रवर्तित प्रक्रियाओं के लिए मुक्त ऊर्जा परिवर्तन।
- साम्य, साम्यावस्था हेतु मापदंड, ऊष्मागतिकी का द्वितीय तथा तृतीय नियम (संक्षिप्त परिचय)।
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यूनिट 6: साम्यावस्था (08 अंक)
- भौतिक और रासायनिक प्रक्रियाओं में साम्य, साम्य की गतिक प्रकृति, द्रव्यानुपाती क्रिया का नियम।
- साम्य स्थिरांक, साम्य को प्रभावित करने वाले कारक, ला शातेलिए का सिद्धांत।
- आयनिक साम्य-अम्लों एवं क्षारकों का आयनन, प्रबल और दुर्बल विद्युत अपघट्य, आयनन की मात्रा।
- बहुक्षारी अम्लों का आयनन, आयनन, अम्लीय शक्ति, pH की अवधारणा।
- हेंडरसन समीकरण, लवणों का जलीय अपघटन (प्रारंभिक विचार), बफर विलयन, विलेयता गुणनफल, लेवायन प्रभाव उदाहरण सहित।
यूनिट 7: अपचयोपचय अभिक्रियाएं (रेडॉक्स अभिक्रिया) (07 अंक)
- ऑक्सीकरण और अपचयन की अवधारणा, ऑक्सीकरण अपचयन अभिक्रियाएं, ऑक्सीकरण संख्या।
- ऑक्सीकरण अपचयन अभिक्रियाओं की रासायनिक समीकरण को संतुलित करना (इलेक्ट्रॉन संख्या एवं ऑक्सीकरण संख्या के आधार पर)।
- रेडॉक्स अभिक्रियाओं के अनुप्रयोग।
यूनिट 8: कार्बनिक रसायन: कुछ मूलभूत सिद्धांत तथा तकनीकें (10 अंक)
- सामान्य परिचय, कार्बनिक यौगिकों का शोधन, गुणात्मक और मात्रात्मक विश्लेषण की विधियां।
- वर्गीकरण और कार्बनिक यौगिकों की IUPAC नाम पद्धति।
- सहसंयोजक बंध में इलेक्ट्रॉनिक विस्थापन-प्रेरणिक प्रभाव, इलेक्ट्रोमेरिक प्रभाव, अनुनाद और अति संयुग्मन।
- सहसंयोजक आबंध का सम और विषम विदलन-मुक्त मूलक, कार्बोनियम आयन, कार्बोनियन, इलेक्ट्रॉन स्नेही तथा नाभिक स्नेही।
- कार्बनिक अभिक्रियाओं की क्रियाविधि।
यूनिट 9: हाइड्रोकार्बन (10 अंक)
- हाइड्रोकार्बनों का वर्गीकरण।
- ऐल्केन: नाम पद्धति, समावयवता, समरूपण (केवल एथेन), भौतिक गुणधर्म, रासायनिक अभिक्रियाएं (हैलोजेनीकरण की मुक्त मूलक क्रियाविधि सहित), दहन और ताप अपघटन।
- ऐल्कीन: नाम पद्धति, द्विक आबंध की संरचना (एथीन), ज्यामितीय समावयवता, भौतिक गुणधर्म, विदलन की विधियां।
- रासायनिक अभिक्रियाएं-हाइड्रोजन, हैलोजन, जल और हाइड्रोजन हैलाइड (मार्कोनिकॉफ के योग का नियम और पेरॉक्साइड प्रभाव) का योग, ओजोनीकरण, ऑक्सीकरण, इलेक्ट्रॉन स्नेही योग की क्रियाविधि।
- ऐल्काइन: नाम पद्धति, त्रिक आबंध की संरचना (एथाइन), भौतिक गुणधर्म, विदलन की विधियां।
- रासायनिक अभिक्रियाएं-ऐल्काइनों की अम्लीय प्रकृति, हाइड्रोजन, हैलोजन, हाइड्रोजन हैलाइड तथा जल के साथ योगात्मक अभिक्रियाएं।
- ऐरोमैटिक हाइड्रोकार्बन: परिचय, IUPAC नाम पद्धति, बेंजीन-अनुनाद, ऐरोमैटिकता, रासायनिक गुणधर्म।
- इलेक्ट्रॉनस्नेही प्रतिस्थापन की क्रियाविधि, नाइट्रेशन, सल्फोनेशन, हैलोजेनीकरण, फ्रीडल क्राफ्ट अभिक्रिया, ऐडिशन, ऐसीटिलेशन, ऐल्किल प्रतिस्थापित बेंजीन में क्रियात्मक समूह का निर्देशक प्रभाव, कार्सिनोजेनिकता और विषाक्तता।
प्रैक्टिकल परीक्षा: मूल्यांकन योजना और प्रयोग
प्रैक्टिकल परीक्षा कुल 30 अंकों की होती है। मूल्यांकन योजना निम्न है:
क्रमांक | विवरण | पूर्णांक |
---|---|---|
1 | विषय वस्तु आधारित प्रयोग (1-4 तक) | 04 |
2 | आयनमिति विश्लेषण (5) | 08 |
3 | गुणात्मक विश्लेषण (6) | 06 (क: लवण विश्लेषण) + 02 (ख: कार्बनिक यौगिकों में तत्व का विश्लेषण) |
4 | कक्षा रिकॉर्ड तथा प्रोजेक्ट कार्य | 05 |
5 | मौखिक परीक्षा | 05 |
योग | 30 |
मुख्य प्रयोग और प्रोजेक्ट्स
- मूलभूत प्रयोगशाला तकनीकें: ग्लास ट्यूब या रॉड को काटना, मोड़ना, जेट बनाना, कॉर्क में छेद करना।
- रासायनिक पदार्थों का शोधन एवं लक्षण: कार्बनिक पदार्थों के गलनांक/क्वथनांक बिंदु ज्ञात करना, अशुद्ध प्रतिदर्श से क्रिस्टलीकरण विधि द्वारा शुद्ध रूप प्राप्त करना (फिटकरी, कॉपर सल्फेट, बेंजोइक अम्ल)।
- pH परिवर्तन से संबंधित प्रयोग: फलों के रस, अम्लों, क्षारकों और लवणों के pH ज्ञात करना; प्रबल और दुर्बल अम्लों के pH की तुलना; प्रबल अम्ल का प्रबल क्षार के साथ अनुमापन में pH परिवर्तन का अध्ययन; दुर्बल अम्लों एवं दुर्बल क्षारकों के लिए लेवायन प्रभाव द्वारा pH मान परिवर्तन का अध्ययन।
- रासायनिक साम्य: फेरिक तथा थायो सायनेट आयनों वाले विलयनों की सांद्रताओं में परिवर्तन करके साम्य में विस्थापन का अध्ययन; क्लोराइड आयन तथा हाइड्रेटेड कोबाल्ट आयन [Co(H2O)6]3+ वाले विलयनों में साम्य विस्थापन।
- मात्रात्मक निर्धारण: रासायनिक तुला का उपयोग सीखना; ऑक्सेलिक अम्ल का मानक विलयन तैयार करना; ऑक्सेलिक अम्ल के मानक विलयन के विरुद्ध अनुमापन द्वारा दिए गए अज्ञात सांद्रण वाले सोडियम हाइड्रॉक्साइड विलयन की सांद्रता ज्ञात करना; सोडियम कार्बोनेट विलयन का मानक विलयन तैयार करना; सोडियम कार्बोनेट के मानक विलयन के विरुद्ध अनुमापन द्वारा दिए गए अज्ञात हाइड्रोक्लोरिक अम्ल विलयन की सांद्रता ज्ञात करना।
- गुणात्मक विश्लेषण: दिए गए लवण में एक धनायन और एक ऋणायन का निरीक्षण (धनायन: Pb2+, Cu2+, As3+, Al3+, Fe3+, Mn2+, Ni2+, Zn2+, Co2+, Ca2+, Sr2+, Ba2+, Mg2+, NH4+; ऋणायन: CO3^2-, SO4^2-, NO2^-, NO3^-, SO3^2-, S^2-, I^-, Br^-, Cl^-, PO4^3-, C2O4^2-, CH3COO^- आदि)। कार्बनिक यौगिकों में नाइट्रोजन, सल्फर, क्लोरीन तत्वों का परीक्षण।
- प्रोजेक्ट्स: दूषित जल में सल्फाइड आयनों का परीक्षण करके बैक्टीरिया का पता लगाना; जल की शुद्धिकरण विधियों का अध्ययन; जल की कठोरता तथा क्लोराइड, फ्लोराइड और लोह आयनों का परीक्षण; विभिन्न कपड़ा धोने वाले साबुनों की झाग उत्पन्न करने की शक्ति और उन पर सोडियम कार्बोनेट की मात्रा डालने पर पड़ने वाले प्रभाव का अध्ययन; चाय की पत्ती के विभिन्न प्रतिदर्शों में अम्लीयता का अध्ययन; विभिन्न द्रवों के वाष्पीकरण की दर ज्ञात करना; रेशों की तन्य शक्ति पर अम्ल एवं क्षारों के प्रभाव का अध्ययन; फलों एवं सब्जियों के रसों का विश्लेषण कर उनकी अम्लीयता का पता लगाना। (नोट: दस कालखंडों के बराबर समय लेने वाली किसी अन्य प्रोजेक्ट को भी शिक्षक का अनुमोदन प्राप्त होने पर चुना जा सकता है।)